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भारत के राफेल को टक्कर देने वाले चीनी जे-10सी फाइटर जेट की दूसरी खेप भी पाकिस्तान को मिल गई है. रिपोर्ट्स की मानें तो अब पाकिस्तान के पास इन फाइटर विमानों की संख्या 12 हो गई है. पाकिस्तान ने अपनी सेना मजबूत करने के लिए चीन से इन फाइटर को खरीदा है

भारत के राफेल विमान को टक्कर देने वाला चीनी जे-10 सी (J-10C) फाइटर जेट की दूसरी खेप भी पाकिस्तान को मिल गई है. वर्तमान में पाकिस्तान की सेना के पास यह सबसे मजबूत हथियारों में से एक है. पाकिस्तान को चीन से पहली खेप मार्च के महीने में मिली थी, जिसमें 6 फाइटर जेट शामिल थे. जिसके बाद अब दूसरी खेप में 6 और फाइटर जेट मिलने के बाद पाकिस्तान में इनकी संख्या 12 हो गई है. जून साल 2021 में पाकिस्तान और चीन ने फाइटर जेट खरीदारी को लेकर डील साइन की थी. करीब 6 महीने बाद दिसंबर 2021 में पाकिस्तान सरकार ने ऐलान किया था कि चीन के साथ 25 जे-10सी फाइटर जेट खरीदने को लेकर डील की गई है. चीन का यह फाइटर जेट पाकिस्तानी एयर फोर्स की न सिर्फ ताकत बढ़ाएगा, बल्कि सुरक्षा उपकरणों में पाकिस्तान को एडवांस तकनीक तक ले जाएगा. राफेल मिलने के बाद भारत इस तकनीक से लैस था, लेकिन अब जे-10सी मिलने से पाकिस्तान का नाम भी इसी लिस्ट में शुमार हो गया है. पाकिस्तानी सेना ने जे-10सी विमानों का स्वागत करते हुए इसे अपनी सुरक्षा फ्लीट में शामिल होने का गर्व जताते हुए ऐतिहासिक पल बताया है.




सूडान भी कर रहा चीन से इस फाइटर जेट को खरीदने की तैयारी खास बात है कि पाकिस्तान के बाद अब सूडान भी चीन से जे-10सी फाइटर विमानों की खरीदारी की तैयारी कर रहा है. अगर सूडान के साथ चीन की डील पक्की हो जाती है तो सूडान पाकिस्तान के बाद चीन से इन विमानों को खरीदने वाला दूसरा देश हो जाएगा. पहली खेप मिलने के बाद इमरान खान ने दिया था दुनिया को संदेश मार्च महीने में जब चीन से फाइटर जेट की पहली खेप मिली, उस समय पाकिस्तान में इमरान खान की सरकार चल रही थी. जे-10 सी विमानों की खेप मिलने के बाद तत्कालीन प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा था कि अब किसी भी देश को पाकिस्तान पर हमला करने से पहले दो बार सोचना होगा. इमरान खान ने कहा था कि पाकिस्तान के सशस्त्र बल किसी भी खतरे को हराने के लिए अच्छी तरह सुसज्जित और प्रशिक्षित हैं.

क्या है भारत के लड़ाकू राफेल और पाकिस्तान के जे-10सी में फर्क भारत के राफेल और पाकिस्तान के जे-10सी विमान, दोनों ही फाइटर जेट 4.5 जनरेशन के हैं. जहां राफेल में हाई रेंज मिसाइल की क्षमता है जिसमें विश्व की सबसे खतरनाक कही जाने वाली माइका और आईआईआर इमैजिंग इंफ्रारेज मिसाइल को लोड किया जा सकता है. तो वहीं पाकिस्तान को मिले जे-10सी में लोअर रेंज मिसाइल क्षमता है, जिसमें पीएल-8/9 जैसी मिसाइलों को ही लोड किया जा सकता है. पाकिस्तान के जे-10सी विमान और भारत के राफेल में सबसे बड़ा अंतर अनुभव का जरूर है. दरअसल राफेल को इराक, सीरिया, अफगानिस्तान, लीबिया और माली में कांबेट ऑपरेशन में इस्तेमाल में लाया जा चुका है, जबकि जे-10सी को लेकर यह अनुभव नहीं है. वहीं राफेल की मारक क्षमता ज्यादा है, जबकि जे-10सी की मारक क्षमता कम है. राफेल की एक और खासियत है कि उससे परमाणु मिसाइल को भी दागा जा सकता है, जबकि जे-10सी में यह फीचर नहीं है.

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