Indian News : भारतीय दंड संहिता (Indian Penal Code) में अपराध (Offence) और उसकी सजा (Punishment) को परिभाषित किया गया है. साथ ही आईपीसी कई शब्दों (words) का अर्थ (Meaning) और उनकी परिभाषा (Definition) को कानूनी रूप से बताती है. ऐसे ही आईपीसी (IPC) की धारा 49 (Section 49) माह (Month) और वर्ष (Year) शब्द को परिभाषित (Define) करती है. तो चलिए जानते हैं कि आईपीसी (IPC) की धारा 49 महीने और वर्ष को कैसे बताती है?

आईपीसी की धारा 49 (IPC Section 49)

भारतीय दंड संहिता (Indian Penal Code) की धारा 49 (Section 49) माह (Month) और वर्ष (Year) के बारे में जानकारी (information) देती है. IPC की धारा 49 के अनुसार ‘जहां कहीं वर्ष (Year) शब्द या मास (Month) शब्द का प्रयोग (Use) किया गया है, वहां यह समझा जाना है कि वर्ष या मास की गणना (reckoned) ब्रिटिश कलैंडर (British calendar) के अनुकूल (according) की जानी है.




क्या होती है आईपीसी (IPC)

भारतीय दंड संहिता (Indian Penal Code) IPC भारत में यहां के किसी भी नागरिक (Citizen) द्वारा किये गये कुछ अपराधों (certain offenses) की परिभाषा (Definition) और दंड (Punishment) का प्रावधान (Provision) करती है. आपको बता दें कि यह भारत की सेना (Indian Army) पर लागू नहीं होतीहै. पहले आईपीसी (IPC) जम्मू एवं कश्मीर में भी लागू नहीं होती थी. लेकिन धारा 370 हटने के बाद वहां भी आईपीसी लागू हो गई. इससे पहले वहां रणबीर दंड संहिता (RPC) लागू होती थी.

अंग्रेजों ने लागू की थी IPC

ब्रिटिश कालीन भारत (British India) के पहले कानून आयोग (law commission) की सिफारिश (Recommendation) पर आईपीसी (IPC) 1860 में अस्तित्व में आई. और इसके बाद इसे भारतीय दंड संहिता (Indian Penal Code) के तौर पर 1862 में लागू किया गया था. मौजूदा दंड संहिता को हम सभी भारतीय दंड संहिता 1860 के नाम से जानते हैं. इसका खाका लॉर्ड मेकाले (Lord Macaulay) ने तैयार किया था. बाद में समय-समय पर इसमें कई तरह के बदलाव किए जाते रहे हैं.

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