Indian News : नोएडा | सुपरटेक के ट्विन टावर (Supertech Twin Tower) गिराने का काम देख रही एडिफिस कंपनी का दावा है कि 24 अगस्त तक विस्फोटक (Explosive) लगाने का काम पूरा कर लिया जाएगा. दो में से एक टावर में विस्फोटक लग चुके हैं तो दूसरे में काम चल रहा है. उम्मीद है कि 28 अगस्त की दोपहर दोनों टावर सियान और एपेक्स (Cyan-Apex Tower) को गिरा दिया जाएगा. वहीं टावर गिरने के बाद 60 मीटर की ऊंचाई तक उठने वाले धूल के गुबार को रोकने की तैयारी भी चल रही है. धूल के गुबार पर काबू पाने के लिए 4 अलग-अलग तरह के इंतजाम किए जा रहे हैं. कंपनी के प्लान को परखने के लिए दूसरे विभागों संग उत्तर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (UPPCB) के अधिकारी आज साइट का दौरा भी कर रहे हैं.
फायर टेंडर और स्प्रिंकलर से भी गिराया जाएगा पानी
जानकारों की मानें तो सुपरटेक के ट्विन टावर सियान और एपेक्स को गिराने के दौरान बड़ी मात्रा में पानी का इस्तेमाल किया जाएगा. वाटर जैट, फायर टेंडर और स्प्रिंकलर से भी पानी गिराने का इंतजाम किया जा रहा है. इसके लिए फायर विभाग ने अपनी एनओसी दे दी है. टावर गिराने में लगाए गए इंजीनियरों की मानें तो 100-100 मीटर ऊंचे दोनों टावर गिरने पर करीब 60 मीटर की ऊंचाई तक धूल का गुबार उठेगा.
इससे आसपास के घरों में भी धूल जाने का खतरा रहेगा. लेकिन धूल किसी घर में न जाए इसके लिए सभी जरूरी कदम उठाए जा रहे हैं. वायु प्रदूषण में 2.5 पीएम का लेवल बढ़ने से रोकने के लिए भी हर संभव उपाय किए जा रहे हैं. गौरतलब रहे, दोनों टावर गिरने के दौरान पहले हेलीकॉप्टर से पानी का छिड़काव कराए जाने की अनुमति मांगी जा रही थी, लेकिन अनुमति या फिर किसी और वजह के चलते हेलीकॉप्टर से पानी नहीं फेंका जाएगा.
फाइबर क्लाथ का जाल लगाकर खड़ी की जा रही लोहे की दीवार
ट्विन टावर गिरने पर धूल और मलबे को बिखरने से रोकने के लिए और भी कई कदम उठाए जा रहे हैं. एडिफिस कंपनी ने दोनों टावर के हर एक फ्लोर पर जीओ फाइबर क्लाथ का जाल लगाया है. इस जाल के लगने से टावर गिरने पर मलबा इधर-उधर नहीं बिखरेगा और ना ही धूल उड़ेगी. जाल मलबा बिखरने और धूल उड़ने पर कंट्रोल करेगा. मलबा बिखरने से रोकने के लिए डबल लेयर पर काम किया जा रहा है. ट्विन टावर के आसपास लोहे की दीवार खड़ी की जा रही है.
जब सैकड़ों किलो विस्फोटक लगाकर टावर को गिराया जाएगा तो उसका मलबा यहां-वहां न जाए, इसके लिए ट्विन टावर के चारों ओर कंपनी जीओ फाइबर क्लाथ का जाल लगा रही है. लेकिन भारी और बड़़े मलबे को रोकने के लिए जाल से पहले लोहे के कंटेनर से दीवार बनाकर खड़ी करने की तैयारी चल रही है. एक के ऊपर एक कंटेनर रखकर 30 मीटर ऊंची दीवार खड़ी की जाएगी. छोटे पेड़-पौधों को धूल से बचाने के लिए उनको जाल से ढकने का प्लान तैयार किया गया है.